Friday, 2 July 2021

'किसी से नाराज होने की हैसियत में नहीं हूं', चाचा, सियासत की बात पर भावुक हुए चिराग पासवान


मेरे चाचा को पता है कि उनका पक्ष कमज़ोर है इसलिए चुनाव आयोग में उन्होंने दावा नहीं किया तो पार्टी पर और  ही चुनाव चिह्न परमेरे चाचा को पार्टी के संविधान की पूरी जानकारी नहीं है.” पार्टी के संविधान खुद को अब भी पार्टी अध्यक्ष बताने वाले लोक जनशक्ति पार्टी के चर्चित चेहरे चिराग पासवान ने खास तौर पर न्यूज़18 इंडिया  के साथ बातचीत की.

पारस और चिराग पासवान के बीच मतभेदों के बाद स्थिति यह है कि लोक जनशक्ति पार्टी के विधायकों समेत ज़्यादातर लोग पारस खेमे में जा चुके हैंचिराग पार्टी पर कब्ज़े की लड़ाई लड़ने के दौर में हैंएक तरफ सियासी लड़ाई और दूसरी तरफ परिवार की कलह के दौर में चिराग कभी भावुक तो कभी एक राजनीतिक युवा के तौर पर दिखाई दिएचाचा के साथ चल रहे मतभेद पर उन्होने कहा की उनकी मां ने पूरा जीवन परिवार को एक साथ रखने में लगा दिया लेकिन आज जब सबसे ज्यादा उनको और उनकी मां को परिवार की ज़रूरत हैतो परिवार के लोग साथ नहीं है. “अगर चाचा को मंत्री बनना थातो वह खुलकर बात रख सकते थेमैं खुद प्रधानमंत्री को पत्र लिखकर उनके लिए मंत्री पद की अनुशंसा करताऔर पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष पद के लिए भी मैं खुद कहतामुझ पर आरोप लगाया जाता कि मैं बात नहीं करता थाकई तरह के आरोप लगते हैंलेकिन मेरे चाचा मुझे डांटतेफटकारते और बताते कि यह करने की ज़रूरत हैऔर यह नहींचाचा खुद तो अलग हुए हीमेरे भाई को भी अलग ले गए,” उन्होने कहा.

नीतीश कुमार के बारे में बात करते हुए चिराग ने बताया, “नीतीश जी से मैं नाराज नहीं हूंअब मैं इस हैसियत में नहीं हूं कि किसी से नाराज हो सकूंअगर मेरा परिवार साथ होता तो मैं किसी पर उंगली उठा सकता थालेकिन परिवार ही साथ नहीं तो मैं क्या किसी पर उंगली उठा सकता हूं.”

पीएम मोदी और बीजेपी को लेकर चिराग ने कहा की एक दौर थाजब परिस्थितियां उनके सामने आईं तो उन्हे अपेक्षाएं थींलेकिन आज की तारीख में उन्हे अपेक्षाएं किसी से नहीं हैंप्रधानमंत्री से उम्मीद है की उनका साथ मिलेगासंरक्षण मिलेगा.

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